चीन में कोरोना की लहर ने पूरी दुनिया को डरा दिया है। एक नए विश्लेषण में सामने आया है कि चीन में कोविड-19 के रोजाना नए मामलों की संख्या 10 लाख और मारे जाने वालों का आंकड़ा पांच हजार तक पहुंच सकता है। ब्लूमबर्ग में एयरफिनिटी (Airfinity) के हवाले से छपी रिपोर्ट के मुताबिक जब से चीन में जीरो कोविड पॉलिसी को हटाया गया है तब से ही ओमिक्रॉन का नया सब-वैरियंट ज्यादा कहर बरपा रहा है। यही नहीं एक रिपोर्ट में दावा किया जा रहा है कि एक महीने में कोरोना के नए मामलों की संख्या 3.7 लाख तक हो सकती है। जबकि, मार्च में ये आंकड़े 45 लाख तक पहुंच सकते हैं। एयरफिनिटी के CEO Rasmus Bech Hansen के मुताबिक मौजूदा स्थिति को देखा जाए तो देश की बड़ी आबादी बुजुर्ग है ऐसे में ये वेरिएंट चीन को भारी झटका भी दे सकता है। हालांकि ओमिक्रॉन (Omicron) वैरिएंट से कम लोगों की मौत हुई थी, लेकिन बुजुर्गों के लिए ये अब भी खतरनाक माना जा रहा है।

अपनी जनता को मरता छोड़ रहे जिनपिंग !
अपनी चालबाज़ियों के लिए कुख्यात चीन का जिनपिंग प्रशासन कोविड मामलों को छिपाने की कोशिश भी करने लगा है। चीन में इन दिनों कोविड का DATA रिलीज होना बंद हो गया है। जबकि, लंदन स्थित शोध फर्म एयरफिनिटी लिमिटेड (Airfinity) के मुताबिक संक्रमण के मामलों में मार्च तक एक बार और उछाल देखने को मिलेगा। हालांकि, अभी से कोरोना के कारण चीन का मेडिकल इंफ्रास्ट्रक्चर चरमरा गया है। हालात ये हैं कि ना ही अस्पतालों में बेड बचे हैं, और न ही पर्याप्च वेंटिलेटर और दवाइयां हैं। डॉक्टर और मेडिकल स्टाफ की कमी भी बड़ी चुनौती बनी हुई है। आलम ये है कि अस्पतालों में लंबी लाइनें लगी हुई हैं। सीरियस यानि गंभीर मरीजों के लिए बेड तक नहीं बचे हैं, उनका इलाज जमीन पर किया जा रहा है। जबकि, चीन की जिनपिंग सरकार ने लोगों से अपील की है कि मुमकिन हो तो घर पर रहकर ही इलाज कराएं। लेकिन, सवाल ये है कि गंभीर रूप से बीमार लोगों का क्या होगा। क्या दुनिया की दूसरी बड़ी आर्थिक शक्ति अपने लोगों को ऐसे ही तड़पता छोड़ देगी।
