दिल्ली के कंझावला में हुए हॉरर हादसे के बाद अब आगरा से झकझोर देने वाली तस्वीर सामने आई है। हादसे का मंजर ऐसा था कि जिसने भी ये देखा, उसका कलेजा कांप गया, रूह थर्रा गई। दरअसल आगरा के भिंड ज़िले का एक युवक सड़क हादसे का शिकार हो गया, मगर ये घटना तब और हृदय विदारक हो गई, जब घने कोहरे में हाई-वे पर गुज़रते वाहन जानवर समझ कर उसके शव को रौंदते चले गए और ये सिलसिला रात भर चलता रहा। शव की हालत देख पाने लायक नहीं थी। खून और बचा-खुचा मांस इधर-उधर फैला था, हड्डियां और कपड़े सड़क पर चिपक गए थे।

सुबह राहगीरों ने हाई-वे पर कीठम झील के सामने शव के क्षत-विक्षत टुकड़े देखे तो पुलिस को सूचना दी, इसके बाद आगरा की रुनकता चौकी की पुलिस मौके पर पहुंची तो शव क्षत-विक्षत हो चुका था। मृतक की पहचान तो दूर शरीर के अंग भी नहीं मिल पा रहे थे। मृतक के कपड़े और हड्डियां ही रह गई थीं। पुलिस ने बमुश्किल फावड़े की मदद से हड्डियों को खुरच-खुरचकर इकट्ठा किया और पोस्टमार्टम गृह भेजा। पुलिस को कपड़ों में ही मृतक का आधार कार्ड मिला, जिससे उसकी पहचान मध्य प्रदेश के भिंड के रहने वाले गौरव नरवरिया के रूप में हुई, जिसकी उम्र 30 साल थी।

आगरा एसीपी मयंक तिवारी ने घटना की पुष्टि करते हुए बताया कि युवक की मौत घने को में किसी वाहन की चपेट में आने से हुई है, युवक की शिनाख्त हो चुकी है, शव के पास उसका आधार कार्ड और ड्राइविंग लाइसेंस मिला है, पुलिस की सूचना पर मृतक के परिजन भी मौके पर आए। उन्होंने पुलिस को बताया कि गौरव 3 महीने पहले बल्लभगढ़ में एक कार की कंपनी में नौकरी करता था, जहां से उसकी नौकरी छूट गई थी। तब से वो घर पर ही था, एक हफ्ते पहले घर से ये कहकर निकला था कि वैष्णो देवी मंदिर घूमने जा रहा है। वैष्णो माता के दर्शन करके घर लौट कर एक-दो दिन में आने की कही थी। मगर यहां कैसे और किस वाहन से पहुंचा, इसकी आगरा पुलिस छानबीन कर रही है।