”पैसे बचाने के लिए, बस नाश्ता छोड़ दें”, ये सुझाव किसी और ने नहीं बल्कि अमेरिकी आबादी को वॉल स्ट्रीट जर्नल ने दिया है। इस सुझाव के तर्क के तौर पर वॉल स्ट्रीट जनरल कुछ आंकड़े भी दिए हैं। अखबार ने एक आर्टिकल के जरिए कहा है कि, खराब मौसम, बीमारी के प्रकोप और यूक्रेन पर रूस के आक्रमण के चलते नाश्ते यानि ब्रेकफास्ट की कीमतों में बहुत ज़्यादा वृद्धि हुई है। ये आर्टिकल गेब्रियल टी. रुबिन ने लिखा है।
महंगाई की मार से अमेरिका में हाहाकार !
गेब्रियल के मुताबिक अमेरिका में पिछले महीने की तुलना में जनवरी में अंडे की कीमतें 8.5% बढ़ीं और पिछले वर्ष में 70.1% बढ़ीं, जो कि 1973 के बाद से सबसे बड़ी वार्षिक दर है। 2022 में किसी भी दूसरे सुपरमार्केट आइटम की तुलना में अंडे की कीमत बढ़ गई। यूनाइटेड स्टेट्स डिपार्टमेंट ऑफ एग्रीकल्चर (यूएसडीए) के अनुसार, दिसंबर 2022 के अंतिम सप्ताह में अमेरिकी अंडे का भंडार उनकी तुलना में 29% कम था।
ब्रेकफास्ट की कीमत में लगातार हो रहा है इज़ाफ़ा
फ्रोज़ेन गैर-कार्बोनेटेड जूस और ड्रिंक्स में पिछले महीने की तुलना में जनवरी में 1.5% की वृद्धि देखी गई, और 12.4% वार्षिक वृद्धि दस वर्षों में सबसे बड़ी है। लेख में कहा गया है कि, ठंड, तूफानों और एक साइट्रस रोग के कारण संतरे के पेड़ बर्बाद हो गए। नाश्ते के अनाज की लागत जनवरी में पिछले महीने की तुलना में सिर्फ 0.4% बढ़ी, लेकिन यूक्रेन युद्ध से संबंधित समस्याओं के कारण वैश्विक अनाज की कीमतों में बढ़ोतरी के कारण एक साल पहले की तुलना में 15% अधिक थी। वॉल स्ट्रीट जर्नल के आर्टिकल में लिखा गया कि ब्रेकफास्ट लवर्स के लिए कॉफी पीना भी महंगा हो गया है। रोस्टेड कॉफी की कीमतों में पिछले महीने 0.1% की गिरावट आई, जबकि इंस्टेंट कॉफी की कीमतों में मासिक आधार पर 3.6% की वृद्धि हुई।
2024 में ‘नाश्ता’ बनेगा बाइडन के लिए नासूर ?
लुइसियाना के सीनेटर जॉन कैनेडी ने वॉल स्ट्रीट जर्नल के आर्टिकल का इस्तेमाल जो बिडेन प्रशासन की विफलताओं की आलोचना करने के लिया किया। तो वहीं रिपब्लिकन पार्टी के सांसद भी बाइडन प्रशान पर बरस पड़े। वैसे पिछले एक साल से, महंगाई उन अमेरिकियों के लिए सबसे बड़ी चिंता रही है, जिन्हें जरूरी चीजें खरीदने में भी परेशानी हो रही है। लोग अपने पसंदीदा खाने को खरीदने से पहले सोच रहे हैं , क्योंकि मांस, पनीर और ब्रेड जैसी रोजमर्रा की चीजों की कीमत 10% से 30% तक बढ़ गई है। ऐसे में कयास लगाए जा रहे हैं कि अगर महंगाई इसी तरह बढ़ती रही तो 2024 के चुनाव में बाइडन की पार्टी यानि डेमोक्रेट्स के लिए जनता के बीच जाना मुश्किल हो जाएगा।