GHAZIABAD: गाज़ियाबाद में गेमिंग एप (Gaming App) और यू-ट्यूब चैनलों (Youtube Channel) के ज़रिये बच्चों के धर्मांतरण (religious conversion) पर रोज़ नए-नए खुलासे हो रहे हैं। साज़िश का दायरा अब 6 राज्यों तक बढ़ चुका है। अंदेशा है कि गेमिंग एप के ज़रिए 400 बच्चों का धर्म बदला जा चुका है। वो चैट भी सामने आई हैं जिनसे ज़ाहिर होता है कि बच्चों को बहकाया जाता है। यूपी अल्पसंख्यक आयोग (Minority Commission) ने गाजियाबाद में ऑनलाइन गेमिंग (Online Gaming) की आड़ में धर्म परिवर्तन की शिकायत को संज्ञान में लिया है। यूपी अल्पसंख्यक आयोग ने इस मामले में डीजीपी से रिपोर्ट मांगी है। अल्पसंख्यक आयोग ने 12 जून तक डीजीपी से इस पूरे मामले की रिपोर्ट तलब की है।
धर्मांतरण के मास्टरमाइंड तक पहुंचने के लिए NIA की मदद
राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ऑनलाइन गेमिंग के जरिए नाबालिगों के धर्मांतरण से जुड़े मामले में उत्तर प्रदेश पुलिस की मदद कर रही है। सूत्रों के मुताबिक यूपी पुलिस करन शाहनवाज उर्फ बद्दो के विदेश भागने की आशंका के मद्देनजर उसके लिए लुकआउट सर्कुलर (LOC) जारी करने की योजना बना रही है। पुलिस वर्तमान में उसकी तलाश में देश भर के कई राज्यों में छापेमारी कर रही है। पुलिस ने इस मामले में एक मौलाना को गिरफ्तार किया है, जो गाजियाबाद की जामा मस्जिद का मौलाना है। वो मस्जिद की 15 सदस्यीय समिति के सदस्य भी हैं। शाहनवाज उसका सहयोगी है और फिलहाल फरार है।
बच्चों का धर्म परिवर्तन करने वाले रैकेट का ऐसे हुआ पर्दाफ़ाश
30 मई को कवि नगर में बहला फुसला कर धर्मांतरण करने का मामला सामने आया था। इस मामले में दो लोगों के नाम सामने आए थे। साइबर टीम ने इनकी पहचान की। पहले शख्स की पहचान शहनवाज मकसूद खान को रूप में हुई जो ठाणे का रहने वाला है। उसकी गिरफ्तारी के लिए टीम रवाना कर दी गई है। जबकि इस मामले में एक मौलवी का नाम भी सामने आया था, जो दो साल से सेक्टर-23 संजय नगर जामा मस्जिद में सेवाएं दे रहा था। पूछताछ में पता चला कि इस मौलाना का नाम अब्दुर्र रहमान है जो बलिया का रहने वाला है। लेकिन काफी साल से ये मौलाना गाजियाबाद में रह रहा तथा। मौलाना ने एक जैन लड़के और दो हिंदू लड़कों का धर्मांतरण कराया। इसके इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्य, एफिडेविट और डॉक्यूमेंट भी मिले।
ऑनलाइन गेमिंग एप से ऐसे होता था धर्म परिवर्तन
कम उम्र के लड़कों को ऑनलाइन गेमिंग के ज़रिए आकर्षित किया जाता था। फोर्ट नाइट नाम के गेमिंग एप्लीकेशन के जरिए एक प्लेटफॉर्म पर लाया जाता था। मुस्लिम लड़के कुछ हिंदू लड़कों की आईडी बनाकर उनसे बात करते थे। गेम जीतने के लिए वो आयतें पढ़ने के लिए बरगलाते थे। गेम जीत जाते थे तो उनका विश्वास हो जाता था। उसके बाद डिस्कॉर्ड नाम के चैट एप्लीकेशन पर आकर चैट करने को कहा जाता था। डिस्कॉर्ड पर आने के बाद भगोड़े जाकिर नाइक का वीडियो दिखाकर धर्मांतरण के लिए बरगलाया जाता था। धर्मांतरण के लिए राजी होने के बाद डॉ. तारीक जमील का वीडियो दिखाई जाता था और कट्टर इस्लाम अपनाने के लिए प्रेरित किया जाता था। एक जैन लड़का और हिंदू लड़का गाजियाबाद के हैं। जबकि एक हिंदू लड़का फरीदाबाद और दूसरा लड़का चंडीगढ़ का रहने वाला है, जिनके धर्म परिवर्तन करने की बात सामने आई है।